karva chauth 2024: हिंदू माह कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि को महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र की कामना से व्रत रखती हैं। इस बार यह व्रत अंग्रेजी कैलेंडर के अनुसार 20 अक्टूबर 2024 रविवार के दिन रखा जाएगा। करवा चौथ पूजा का शुभ मुहूर्त 20 अक्टूबर को शाम 05:46 से 07:02 के बीच रहेगा। व्रत का प्रारंभ प्रात: 06:25 से होकर इसका समापन रात्रि 07:54 पर चांद निकलने के बाद होगा।
करवा चौथ पर रखते हैं निर्जला उपवास, अन्न जल का करते हैं त्याग
करवा चौथे के व्रत की शुरुआत सूर्योदय के पूर्व से हो जाती है
करवा चौथा का व्रत रात को चांद्र निकलने के बाद ही तोड़ते हैं
करवा चौथ में रखते हैं निर्जला उपवास : हिंदू धर्म के अनुसार व्रत कई प्रकार के होते हैं। जैसे .प्रात: उपवास, अद्धोपवास, एकाहारोपवास, रसोपवास, फलोपवास, दुग्धोपवास, तक्रोपवास, पूर्णोपवास, साप्ताहिक उपवास, लघु उपवास, कठोर उपवास, टूटे उपवास, दीर्घ उपवास, निर्जला उपावास आदि। बिलकुल साफ-सुथरे ताजे पानी के अलावा किसी और चीज को बिलकुल न खाना न पीना पूर्णोपवास कहलाता है। इस उपवास में उपवास से संबंधित बहुत सारे नियमों का पालन करना होता है। यदि पानी यानी जल का भी त्याग कर दिया जाए तो उसे निर्जला उपवास कहते हैं।
करवा चौथ व्रत के नियम:-
– करवा चौथ का व्रत सूर्योदय से पहले से प्रारंभ हो जाता है। उसके पूर्व कुछ भी खा-पी सकते हैं। उसके बाद जब तक रात्रि में चंद्रोदय नहीं हो जाता तब तक जल भी ग्रहण नहीं करते हैं। चंद्र दर्शन के पश्चात ही इस व्रत का विधि-विधान से पारण करना चाहिए। यदि कोई स्वास्थ्य समस्या है, तो जल पी सकते हैं।
– चांद निकलने पर पूजा समाप्त होने के बाद एक बार में अधिक भोजन करने से बचें। घंटों तक खाली पेट रहने के बाद एकदम से पेट भरकर खाने से न केवल पेट दर्द की समस्या हो सकती है, बल्कि पाचन में भी परेशानी हो सकती है।
– इतने लंबे समय तक खाली पेट रहने के बाद पहले सिर्फ एक गिलास पानी पीना ही बेहतर होगा, ताकि पेट में ठंडक पहुंचे, और बाद में होने वाली पाचन संबंधी समस्याओं से बचा जा सके।
– आप चाहें तो नींबू पानी, लस्सी, नारियल पानी य फिर मौसंबी का जूस ले सकती हैं। इससे आपको उर्जा महसूस होगी, और यह आपके पाचन तंत्र की कार्यप्रणाली को भी ठीक करने में सहायक होंगे।
– व्रत के बाद प्रोटीन से भरपूर आहार लेने का प्रयास करें, आपके शरीर में उर्जा की पूर्ति करने में मदद करेगा। इसके लिए आप कुछ समय रूककर, पनीर व्यंजन या अंकुरित आहार ले सकती हैं।
– दिनभर के उपवास के बाद तेल मसाले वाले भाेजन से बचने की कोशिश करें। मिठाईयों और तले हुए व्यंजनों से दूरी बनाए रखें, ताकि आपके पाचन तंत्र पर अधिक दबाव न पड़े, और स्वास्थ्य भी सही हो।
– आप अगर चाहें तो मिले जुले आटे की रोटी बना सकती हैं। सब्जियों में लौकी, गिल्की, कद्दू, टमाटर, भिंडी, दाल व दही जैसे पाचक व हल्की चीजें ले सकते हैं। दिनभर उपवास के बाद आपका पाचनतंत्र इसे आसानी से पचा सकेगा।
– आप चाहें तो दही के साथ फलों का इस्तेमाल भी कर सकती हैं। इसके अलावा फ्रूट चाट भी एक बेहतरीन विकल्प है, जो आपका पेट भी भरेगा और शरीर को उर्जा भी देगा।
– मिले जुले आटे से बना उपमा भी आपके लिए एक अच्छा विकल्प हो सकता है। यह पौष्टिक भी होगा और पाचक भी। लेकिन ध्यान रखें कि व्रत के बाद जो भी खाएं वह कम मात्रा में ही खाएं।
– दूध, दही, पनीर, छैने की बनी चीजें ली जा सकती है, ताकि आपका पेट देर तक भरा रहे। लेकिन ज्यादा मीठा खाने से बचें, क्योंकि इससे आपको भूख और प्यास लग सकती है।व्रत के पहले सूखे मेवों का सेवन बढ़िया विकल्प होता है क्योंकि ये आपको लंबे समय तक भूख नहीं लगने देते और शरीर में ऊर्जा का स्तर भी बनाए रखते हैं। तेल-मसाले युक्त खाने से दूर रहें।
– व्रत खोलने के बाद एकदम से मसालेदार भारी लगने वाला भोजन लेना सही नहीं है। व्रत खोलते समय बेहद हल्का भोजन लें। चाहें तो जूस से शुरुआत कर सकते हैं। ऐसा आहार लें जो आसानी से पच जाए। चावल व अन्य ऐसे आहार से दूर रहें जो पाचन में अधिक समय लेते हैं।
karva chauth vrat summary 2024: वर्ष 2024 में करवा चौथा का व्रत 20 अक्टूबर 2024 रविवार के दिन रखा जाएगा। हिंदू माह कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को यह व्रत महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र की कामना से रखती हैं। 20 अक्टूबर 2024 को प्रात: 06:46 बजे से चतुर्थी तिथि प्रारम्भ होगी और 21 अक्टूबर 2024 को प्रात: 04:16 बजे समाप्त होगी। करवा चौथ पूजा का शुभ मुहूर्त 20 अक्टूबर को शाम 05:46 से 07:02 के बीच रहेगा। व्रत का प्रारंभ प्रात: 06:25 से होकर इसका समापन दिल्ली टाइम अनुसार रात्रि 07:54 पर चांद निकलने के बाद होगा।